संजय जैन (मुम्बई)
राज्य : महाराष्ट्रा
मो.9987699021
विधा : गीत
मां का आँचल सदा,
स्नेह प्यार बरसात है।
बड़ी ही खुश नसीब होते,
जिन्हें ये प्यार मिलता है।
मां शब्द ही ऐसा है,
जिसमे पूरा ब्रह्मण्ड समाता है।
तभी तो माँ का कर्ज,
कोई उतार नही पता।।
जिसे मिलता है,
माँ की सेवा का अवसर।
वो संतान खुश नसीब होती,
जिसे मिलता है ये मौका।
दुनियां में सिर्फ मां ही,
ऐसी होती है।
जो अपनी संतान के लिए,
किसी भी हद तक चली जाती।।
माँ तो माँ होती है
किसीने नही देखे उसके रुप?
कब कौनसा रूप लेकर,
संतान को सक्षम बनाती है।
जब आती है उस पर विपत्ति,
तो ढाल खुद बन जाती है।
जिस ढाल को कोई योध्दा,
आज तक नही भेद पाया।
तभी तो माँ जगत जननी,
कहलाती है लोगो।।
बड़े ही पुण्य साली है,
जिनकी मां साथ होती है।।
जय जिनेन्द्र देव की
संजय जैन (मुम्बई)
30/10/2019
राज्य : महाराष्ट्रा
मो.9987699021
विधा : गीत
मां तो मां होती है
मां का आँचल सदा,
स्नेह प्यार बरसात है।
बड़ी ही खुश नसीब होते,
जिन्हें ये प्यार मिलता है।
मां शब्द ही ऐसा है,
जिसमे पूरा ब्रह्मण्ड समाता है।
तभी तो माँ का कर्ज,
कोई उतार नही पता।।
जिसे मिलता है,
माँ की सेवा का अवसर।
वो संतान खुश नसीब होती,
जिसे मिलता है ये मौका।
दुनियां में सिर्फ मां ही,
ऐसी होती है।
जो अपनी संतान के लिए,
किसी भी हद तक चली जाती।।
माँ तो माँ होती है
किसीने नही देखे उसके रुप?
कब कौनसा रूप लेकर,
संतान को सक्षम बनाती है।
जब आती है उस पर विपत्ति,
तो ढाल खुद बन जाती है।
जिस ढाल को कोई योध्दा,
आज तक नही भेद पाया।
तभी तो माँ जगत जननी,
कहलाती है लोगो।।
बड़े ही पुण्य साली है,
जिनकी मां साथ होती है।।
जय जिनेन्द्र देव की
संजय जैन (मुम्बई)
30/10/2019
No comments:
Post a Comment