कलम लाइव पत्रिका

ईमेल:- kalamlivepatrika@gmail.com

Sponsor

दिल हैं क्या.. dil h kya

दिल है क्या

दिल के झरोको से,
सब कुछ दिखता है।
तभी तो दिल हमारा
एकदम साफ रहता है।
और प्यार के लिए
दिल मेरा उमड़ता है।।

दूर होकर भी आप मेरे,
बहुत करीब जो रहते हो।
लगती है चोट तुम को,
दर्द हमे महसूस होता है।
क्या इसे ही दो दिलो का,
लोग मिलन कहते है ?

दिल से जो तारा जुड़ते है,
वो दिल में बहुत बजते है ।
मिलना और बिछड़ना तो,
जीवन मे लगा रहता है।
पर दिल से जो प्यार करते है।
उनके दिलो में ही दिलवाले बसते है।
और इस स्वार्थी दुनियां में भी वो।
अपने रिश्ते दिल से निभाते है।।
दिल से निभाते है.....।।

संजय जैन (मुम्बई)

No comments:

Post a Comment