संस्कृत साहित्य का काल विभाजन / Sanskrit sahity ka kaal vibhajan
संस्कृत साहित्य का काल विभाजन
संस्कृत साहित्य का विकास की दृष्टि से अनेक विद्वानों ने कालविभाजन किया है। सभी विद्वानों के काल विभाजन का समय अलग अलग है। लेकिन संस्कृत साहित्य के विकास की दृष्टि से सर्वमान्य कालविभाजन इस प्रकार है।
1. आदिकाल ( 450 ई. पू - 10 ई. पू. तक)
यह वह युग है जिसमे वेदों और संहिताओ की रचना हुई थी ।
(2) मध्यकाल (ई. पू. 10 से 450 ई. पू. तक)
यह वह युग है जिसमें शास्त्रों, दर्शनसूत्रों, वेदांग ग्रंथों, काव्यों तथा कुछ प्रमुख साहित्यशास्त्रीय ग्रंथों का निर्माण हुआ)
(3) परवर्तीकाल (450 ई. से लेकर 1400 ई. या अब तक का आधुनिक काल)
यह वह युग है जिसमे संस्कृत साहित्य की रचना हुई थी ।
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